धान की सीधी बुआई के प्रक्षेत्र पर आयोजित हुई संगोष्ठी
आईसीएआर के डायरेक्टर, केवीके विशेषज्ञ रहे मौजूद
बायर क्रॉप साइंस की तरफ से किसान हुए सम्मानित
डलमऊ/रायबरेली – किसानों की धान रोपाई पर आने वाली लागत व भूगर्भ जल दोहन की बढ़ती समस्या के कारण बायर क्रॉप साइंस की तरफ से कराई जा रही धान की सीधी बुआई के संदर्भ में आयोजित एक संगोष्ठी में क्षेत्र के हजारों किसानों ने प्रतिभाग किया। कार्यक्रम में किसानों को सम्मानित करने के साथ ही किसानों को महत्वपूर्ण जानकारी भी दी गई।
दीनशाह गौरा विकास खण्ड के थुलरई गांव में आयोजित किसान संगोष्ठी में कानपुर से आये कृषि विभाग के आईसीएआर के डायरेक्टर डाक्टर शांतनु ने कहा कि किसान से बड़ा कृषि वैज्ञानिक नही है , डाक्टर शांतनु ने कहा कि आज देश मे जल संरक्षण में बड़े पैमाने कार्य करने की आवश्यकता है, अगर समय रहते हम सभी जल संरक्षण पर ध्यान नही देंगे तो स्थितियां गम्भीर हो जाएंगी, उन्होंने कहा कि धान की सीधी बिजाई में अगर किसानों ने सहयोग दिया तो इस थुलरई गांव को डीएसआर पद्धति के आदर्श गांव के रूप में विकसित किया जाएगा।
कृषि विज्ञान केंद्र के वरिष्ठ वैज्ञानिक डाक्टर आर के कनौजिया ने कहा कि जनपद में किसानो की सीधी बिजाई के प्रति रूचि बढ़ रही है, इसके लिए केवीके दरियापुर की पूरी टीम हमेशा प्रयासरत रहती है, किसानों के लिए केवीके दरियापुर की पूरी टीम चौबीस घण्टे उपलब्ध है। उपनिदेशक (मृदा) ने कहा कि जिले में गोरा बाजार स्थित कृषि उपनिदेशक कार्यालय स्थित लैब व अन्य सरकारी लैब में मृदा परीक्षण की व्यवस्था की गई है, किसानों को मिट्टी परीक्षण करवाकर जितनी आवश्यकता है उतने ही उर्वरक डाले जाएं।
बायर क्रॉप साइंस के अधिकारियों ने किसानों को डीएसआर पद्धति व अन्य क्षेत्रों में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले किसानों बदलू प्रसाद, रामसुमेर, रामकुमार, आदर्श कुमार, रामपियारे, कल्लो प्रसाद, नरेंद्र, सहित दर्जनों किसानों का सम्मान भी किया।
इस दौरान संगीता देवंकर बायर क्रॉप साइंस से प्रवीण सिंह, भानु प्रताप सिंह, सतीश सिंह, निखिल सिंह, मनीष सिंह, विनय सिंह, अतुल पांडेय, पंकज तिवारी, मुकेश यादव, जीत सिंह, आदर्श सिंह , प्रेम शंकर, शिवम सिंह सहित किसान रामसजीवन तिवारी , सधोले मिश्र,अनिल मिश्र, रामसजीवन यादव, मनोज कुमार, नरेंद्र, बबलू यादव, रामबरन लोधी, टिंकू सिंह, गोवर्धन सिंह, हरिकेश सिंह सहित बड़ी संख्या किसान मौजूद रहे।
दबाव और प्रभाव में खब़र न दबेगी,न रुकेगी