जनपद की 23 सीएचसी-पीएचसी पर बनेंगी एमएनसीयू
रिपोर्ट – उपेंद्र शर्मा
- एमएनसीयू वार्ड बनने से शिशु मृत्यु दर पर लगेगा अंकुश
बुलंदशहर, 25 मई 2022। कस्तूरबा जिला महिला अस्पताल के बाद अब जनपद के 23 सामुदायिक व प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्रों (सीएचसी-पीएचसी) पर मदर न्यू बोर्न केयर यूनिट (एमएनसीयू) वार्ड बनाने की प्रक्रिया तेज हो गई है। जनपद में जिन स्वास्थ्य केन्द्रों पर 10 से अधिक मासिक प्रसव होते हैं, वहां पर एमएनसीयू वार्ड (लांज) का निर्माण कराया जाएगा। जनपद में एमएनसीयू वार्ड बनने से नवजात शिशु मृत्यु दर पर अंकुश लगेगा। एमएनसीयू वार्ड को लेकर के सरकार बेहद गंभीर है। इसके लिये स्वयं सेवी संस्थाओं का सहयोग लिया जा रहा है। जनपद के कस्तूरबा जिला अस्पताल में कम्यूनिटी एम्पावरमेंट लैब
(सीईएल) के तकनीकी सहयोग से एमएनसीयू वार्ड बनाया गया है, जहां पर अब तक 250 से अधिक नवजात शिशुओं को मां के साथ उपचार दिया जा चुका है। जनपद के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र शिकारपूर, पहासू, दानपुर, डिबाई, स्यान, खुर्जा और सिकन्द्राबाद में भी एमएनसीयू वार्ड बनाए जाएंगे।
मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा. वीके सिंह ने बताया कस्तूरबा गांधी जिला महिला अस्पताल में कम्यूनिटी एम्पावरमेंट लैब (सीईएल) के तकनीकी सहयोग 20 बेड का मदर न्यू बोर्न केयर यूनिट (एमएनसीयू) का निर्माण हुआ था। एमएनसीयू का पूर्व में मंडल आयुक्त सुरेंद्र सिंह व क्षेत्रीय विधायक प्रदीप कुमार संयुक्त रूप से लोकार्पण कर चुके हैं। उन्होंने बताया 10 से अधिक प्रसव होने वाली पीएचसी-सीएचसी पर छह बेड का एमएनसीयू वार्ड बनाया जाएगा। जो पूरी तरह अत्याधुनिक उपकरणों से लैस होंगा। फिलहाल अभी पुराने स्टाफ से काम चलाया जाएगा। शासन से बजट मिलते ही नये स्टाफ को एमएनसीयू वार्ड में तैनात किया जाएगा।
कार्यक्रम के नोडल अधिकारी डा. रोहताश यादव ने बताया जनपद में एमएनसीयू वार्ड का निर्माण होने से नवजात शिशु मृत्यु दर में कमी आएगी। एमएनसीयू वार्ड में कम वजन के बच्चों को रखा जाएगा। इतना ही नहीं वहां पर मां की उपस्थिति मं नवजात शिशु का उपचार होगा। पहासू सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र प्रभारी डा. मनोज कुमार ने बताया शासन के आदेश पर सीएचसी पर नवजात शिशुओं के लिए एमएनसीयू वार्ड का निर्माण कराया जाएगा। जो कि मूलभूत सुविधाओं से लैस होगा। वार्ड में एसी लगाए जाएंगे। आवश्यक मशीनों की व्यवस्था रहेगी।
वार्ड में शिशु को मां के साथ मिलेगा इलाज
नव निर्माण मदर न्यू बोर्न केयर यूनिट (एमएनसीयू) वार्ड में नवजात की माँ को अलग नहीं रखा जाएगा। नवजात से दूर होने के कारण मॉ परेशान हो जाती है। उसी को ध्यान में रखते हुए एमएनसीयू वार्ड में नवजात के साथ उसकी माँ भी रहेगी, जो नवजात का खुद भी ध्यान रख सकेगी।