आर.डी.आर.के.पब्लिक स्कूल में हर्षोल्लास से मनाया गया श्रीकृष्ण जन्मोत्सव
राधा श्रीकृष्ण की वेशभूषा में जमकर थिरके छात्र-छात्राएं
शिवगढ़,रायबरेली : क्षेत्र के आर.डी.आर.के.पब्लिक स्कूल शिवगढ़ में हर्षोल्लास पूर्वक श्रीकृष्ण जन्मोत्सव मनाया गया। छात्र- छात्राओं ने सांस्कृतिक कार्यक्रमों की अनुपम प्रस्तुति देकर सभी का मन मोह लिया। शनिवार को छात्र-छात्राओं ने राधा-कृष्ण तथा ग्वालबालों की वेशभूषा में मनमोहक भव्य झांकियों की प्रस्तुति देकर हर्षोल्लास पूर्वक श्रीकृष्ण जन्मोत्सव मनाया। छात्र-छात्राओं ने श्रीकृष्ण जन्मोत्सव, राधा श्रीकृष्ण रासलीला, सुदामा चरित्र, दही मटकी, गोचारण लीला, गोवर्धन लीला,कंश वध सहित झांकियों की अद्भुत प्रस्तुति देकर सभी को मंत्रमुग्ध कर दिया। भगवान श्रीकृष्ण की महिमा पर आधारित भक्ति गीतों पर छात्र-छात्राओं ने दर्जनों सामूहिक नृत्य प्रस्तुत किए। कार्यक्रम का शुभारम्भ विद्यालय के प्रधानाचार्य रविकान्त वर्मा द्वारा भगवान श्रीकृष्ण के बांके बिहारी, लड्डू गोपाल रुप की पूजा अर्चना से किया गया।
रविकान्त वर्मा ने भगवान श्रीकृष्ण की महिमा का बखान करते हुए बताया कि श्रीकृष्ण वसुदेव और देवकी की 8वीं संतान थे, देवकी कंस की बहन थी, कंस एक अत्याचारी राजा था। उसने आकाशवाणी सुनी थी कि देवकी के आठवें पुत्र द्वारा वह मारा जाएगा। इससे बचने के लिए कंस ने देवकी और वसुदेव को मथुरा के कारागार में डाल दिया। मथुरा के कारागार में ही भादो मास के कृष्ण पक्ष की अष्टमी को उनका जन्म हुआ। कंस के डर से वसुदेव ने नवजात कृष्ण को रात में ही यमुना पार गोकुल में यशोदा के यहाँ पहुँचा दिया। गोकुल में उनका लालन-पालन हुआ था। यशोदा और नन्द उनके पालक माता-पिता थे। बाल्यावस्था में ही उन्होंने बड़े-बड़े कार्य किए जो किसी सामान्य मनुष्य के लिए सम्भव नहीं थे। उन्होंने अपने जन्म के कुछ समय बाद ही कंस द्वारा भेजी गई राक्षसी पूतना, शकटासुर, तृणावर्त आदि राक्षस का वध कर सभी को आश्चर्यचकित कर दिया था। इस मौके पर उप प्रधानाचार्य अनुज मिश्रा, वरिष्ठ लिपिक केएस वर्मा, शिक्षिका दीपिका, प्रशंसी श्रीवास्तव, स्मृति, आर्या, निम्रा, साक्षी, अंशिका, रूबी, पूनम आदि शिक्षक शिक्षिकाएं एवं छात्र-छात्राएं मौजूद रहे।
दबाव और प्रभाव में खब़र न दबेगी,न रुकेगी