किसान मेला बना आखाड़ा,चेयरमैन पति और कृषिविज्ञान केंद्र के अधिकारी के बीच हुई हाथापाई 

रिपोर्ट मुन्ना सिंह 

बाराबंकी : कृषि विज्ञान केंद्र हैदरगढ़ में आयोजित कृषि मेला व प्रदर्शनी कार्यक्रम एकाएक उस समय दंगल में परिवर्तित हो गया जब पूर्व विधायक पुत्र व कृषि विज्ञान केंद्र के एक कर्मी के बीच मल्लयुद्ध हो गया। किसी प्रकार मौके पर मौजूद लोगों ने इसे शांत कराया ।दोनों पक्षों ने एक दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप लगाए हैं।

घटनाक्रम के मुताबिक कृषि विज्ञान केंद्र में फसल अवशेष परियोजना के अंतर्गत कृषि मेला प्रदर्शनी कार्यक्रम चल रहा था। इसी बीच वहां पर पूर्व विधायक स्वर्गीय सुंदरलाल दीक्षित के पुत्र पंकज दीक्षित जा पहुंचे।

दीक्षित ने यहां पर पहुंचने के दौरान पत्रकारों से वार्ता करते हुए कहा कि यहां पर दलालों का सम्मान होता है। जबकि किसानों को पूछा ही नहीं जाता। जो सम्मान प्रमाण पत्र भी दिए गए हैं वह भी यहां पर गलत लोगों को एवं फालतू लोगों को दिए गए हैं।

इस स्थिति की मेरे द्वारा पूर्व में शिकायत भी की जा चुकी है। अभी पंकज दीक्षित पत्रकार से वार्ता कर ही रहे थे कि इसी बीच विज्ञान केंद्र में तैनात आलोक सिंह आए और उन्होंने दीक्षित की बात का विरोध करना शुरू कर दिया। मौके पर मौजूद कई लोगों ने बीच-बचाव किया लेकिन तब तक बात बढ़ती चली गई। देखते ही देखते दीक्षित और आलोक के बीच हाथापाई मुक्का मुक्की होने लगी। फिर मल्लयुद्ध होते हुए मामला पटका पटकी तक पहुंच गया। खैर किसी तरह मौके पर मौजूद लोगों ने दोनों लोगों को अलग किया।

इस दौरान पंकज दीक्षित ने कहा कि कृषि विज्ञान कर्मी उनके साथ गलत व्यवहार किया। मैं नेता हूं। मैं किसानो की आवाज को उठा रहा था। और यहां के भ्रष्टाचार को उजागर कर रहा था। कृषि विज्ञान केन्द्र के आलोक ने जबरदस्ती करके मुझसे झगड़ा फसाद किया। उधर दूसरी ओर आलोक सिंह का कहना था कि पंकज दीक्षित स्वयं गुंडागर्दी कर रहे थे ।

मौके पर मौजूद लोगों का कहना था कि आलोक सिंह बिना मतलब पंकज दीक्षित की पत्रकार वार्ता के बीच में जाकर कूदे! कुल मिलाकर इस मामले में दोनों पक्षों ने अपने-अपने दावे किए हैं।

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