Swami prasad maurya news : धोखाधड़ी के मामले में सपा नेता स्वामी प्रसाद मौर्या के निजी सचिव समेत पांच शातिर गिरफ्तार

Swami prasad maurya : स्वामी प्रसाद मौर्य सपा नेता है मामला उनके निजी सचिव का है जिसका नाम अरमान खान है एटीएस की लखनऊ टीम ने सपा नेता स्वामी प्रसाद मौर्य के निजी सचिव अरमान खान और उनके चार साथियों को धर दबोचा है।

फर्जी तरीके से नौकरी दिलाने के नाम पर भोले भाले युवकों से ठगी करते थे और और उन्हें बेवकूफ बनाया करते थे । उनके निजी निजी सचिव के पास से 57 हस्ताक्षरित 15 फर्जी आईडी कार्ड 22 फर्जी नियुक्ति पत्र लखनऊ सचिवालय का

एंट्री पास 14 लोगों के अंक पत्र एवं प्रमाण पत्र एक एसयूवी भी बरामद हुई है। एटीएस इस धोखाधड़ी और ठगी के मामले में एटीएस इस मामले में आगे की जांच कर रही है।

चुनाव के ठीक पहले भाजपा छोड़ समाजवादी पार्टी में शामिल हुए थे स्वामी प्रसाद मौर्य

 

आपको बताते चलें स्वामी प्रसाद मौर्य यह वही नेता हैं जो हमेशा लाल बत्ती और कुर्सी के लालच में बंधे रहे जब तक भाजपा पार्ट वन सरकार थी वह श्रम मंत्री के रूप में 5 साल भारतीय जनता पार्टी में मलाई खाते रहे उनको लगा सरकार बदलने की हवा तेज हो गई है तो जाकर सपा की गोदी में बैठ गए और बड़े-बड़े बयान देने लगे मैंने बोला हूं नेवला रूपी स्वामी प्रसाद मौर्या हूं और सांप को खा जाऊंगा समाजवादी पार्टी की सरकार बनेगी लेकिन उनको क्या पता था कि सपा की यह दुर्गति होगी वह अपने कार्य क्षेत्र से चुनाव ना लड़के फाजिलनगर विधानसभा सीट से चुनाव लड़े और वहां से भी बुरी तरीके से शिकस्त झेलनी पड़ी सारा मामला पुत्र मोह का है अपने बेटे को राजनीति में सफल देखने के चक्कर में यह सब कर बैठे उनके बेटे अशोक मौर्य उत्कृष्ट दो बार ऊंचाहार से चुनाव लड़े एक बार बहुजन समाज पार्टी के टिकट पर और एक बार भारतीय जनता पार्टी के टिकट पर लेकिन दोनों बार ही उनको शिकस्त का सामना करना पड़ा फिलहाल

 

स्वामी प्रसाद मौर्य से भी एटीएस कर सकती है पूछताछ

 

मामला स्वामी प्रसाद मौर्य के निजी सचिव और उनके स्टाफ का है और एक वो बड़े रैकेट का पर्दाफाश हुआ है क्योंकि मामला उनके ही स्टाफ का है तो एटीएस उनसे भी पूछताछ कर सकती है राजनीतिक चश्मे से क्या है इसे जिस तरह देखा जाए लेकिन यह एक घिनौना काम है ।

चाहे जितनी बड़ी हैसियत का आदमी हो उसको किए की सजा जरूर मिलनी चाहिए इसको राजनीति के चश्मे से कतई नहीं देखा जाना चाहिए अब इस मामले का पर्दाफाश हो जाने के बाद स्वामी प्रसाद मौर्या की मुश्किलें बहुत ज्यादा बढ़ने वाली हैं देखना है कि अब इस पूरे रैकेट में कौन कौन से नाम आते हैं और कौन-कौन से चेहरे उजागर होते हैं यह तो एटीएस की जांच के बाद ही पता चलेगा।

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